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PANIC ATTACK पैनिक अटैक क्या होता है?

आज हम देखेंगे पैनिक अटैक क्या होता है? ये क्यों होता है ? PANIC ATTACK के लक्ष्यन क्या है ? इसको कण्ट्रोल में कैसे रखना है ?

PANIK ATTACK

आजकी लोगों की लाइफस्टाइल बहोत तनावग्रस्त, और बहोत भागदौड़ की है। दिन शुरू होते है ख़त्म कभी होता है समाज में नहीं आता। आजकी दुनिया सब पैसे पे आधारित है। पैसोंके बिना आजके युग में कुछ भी नहीं हो सकता है। अच्छे लाइफस्टाइल और फ्यूचर के लिए काम करना बहोत जरूरी है। पैसे कमाने के चक्कर में लोग अपने ऊपर ध्यान नहीं दे पते। अपने शरीर पे, अपने मेन्टल हेल्थ पे ध्यान देने को टाइम कुछ लोगों के पास ही होता है । इससे बहोत मानसिक और शारीरिक बीमारिया होती है।

कामकाज से वक्त निकालकर कुछ वक्त खुदके लिए देना बहोत जरूरी है। पैनिक अटैक का मुख्य कारन है तणाव। बहोत सारी बीमारियोंका का कारन तनाव याने स्ट्रेस है। इसलिए तनाव लेना सेहत के लिए बहोत हानिकारक है।तनाव लेने से हैं मानसिक और शारीरिक रूप से भी कमजोर हो जाते है। लोगों को मानसिक सेहत को लेकर जागरूक करने के लिए ९ मार्च को पैनिक डे मनाया जाता है।

तनावग्रस्त वक्त में घबराने की बजाय अपने दिमाग को शांत रखे और समझदारी से काम ले। तजब हम घबराते है तब दीर्घ श्वास लेना बहोत जरूरी है। दीर्घ श्वास लेने से इस स्थिति को कण्ट्रोल में रखना आसान होता है।

पैनिक अटैक का मुख्य कारन सेरोटोनिन के काम होना है ।और स्ट्रेस लेने से इसका खतरा और बढ़ जाता है। सेरोटनिन की मात्रा को स्तिर रखने के लिए हमे मनोवैज्ञानिक के पास जाना बहोत जरूरी है।तनाव से कठिनाइयों का हल तो नहीं निकलता लेकिन और कठिनाइया निर्माण हो जाती है।

जब PANIC ATTACK अत है तब हमारी धड़कने बढ़ जाती है , बहोत ज्यादा घबराहट होती है। हम अभी निचे गिरने वाले है ऐसा लगता है। चक्कर आता है। बहोत ज्यादा पसीना छूटने लगता है। ये सब चीज़े इतनी फ़ास्ट होती है की अब हम तुरंत मरने वाले है ऐसा हमे लगने लगता है। लेकिन इस स्तिथिमे में अपने दिमाग को शांत रखना और दीर्घ श्वास लेना बहोत ही जरूरी है। ये कुछ लक्ष्यन हार्ट अटैक जैसी होती है। तनाव हमारे जीवन में डायबिटीज, हृदयरोग, मोटापा जैसी अनेक बीमारिया लाती है।

लेकिन १५-२० मिनट के लिए रहता है। इसके बड्ड ये धीरे धीरे ख़त्म हो जाता है। और हमको एकदम नार्मल लगता है। लेकिन अगर हम इसबारेमे सोचते रहे की हमे पैनिक अटैक आ रहा है। तो हमारा दिमाग उसके लिए तैयार हो जाता है। इसलिए जब भी हमे लगे तो उससे दुर्लक्षित करना चाहिए। किसी भी विषय के बार में ज्यादा सोचना काम करना चाहिए। दिमाग पर ज्यादा प्रेशर न डाले। मनोवैज्ञानिक की सलाह ले। मनोवैज्ञानिक के पास जाने के लिए लोग बहोत सोचते है। लेकिन हमारे मानसिक स्थिति को मजबूत रखने के लिए उनके पास जाना जरूरी है। कुछ बातें ऐसी होती है जो हमारी दिमाग को ख़राब कर रही होती है। उन बत्तों को आप मनोवैज्ञानिक के पास शेयर कर सकते है। अगर हमे अपने दइमाग पे कण्ट्रोल करना नहीं सीखा तो पैनिक अटैक जैसी बीमारी बार बर्र होती रहेगी। इसलिए ये बीमारी आपकोमखुदको ही हल करनी है। खुश रहना, छोटी छोटी बत्तों के बारे में सोचना, छोटी छोटी बातें दिल पे लगाना कम करना चाहिए। इसको कम करने के लिए अपने साथ एक ऐसा व्यक्ति रखे जो हमारे बातें सुने और हमे समज के ले। उससे बहोत मानसिक सुख मिलता है।

पैनिक अटैक की और जानकारी के लिए इस लिंक पे क्लिक कीजिये। https://www.youtube.com/watch?v=Ya1HfNY7898

शरीर के लिए प्रोटीन क्यों है ज़रूरी? जानने के लिए इस लिंक पे क्लिक कीजिये। https://dailyindiannews.com/%e0%a4%b6%e0%a4%b0%e0%a5%80%e0%a4%b0-%e0%a4%95%e0%a5%87-%e0%a4%b2%e0%a4%bf%e0%a4%8f-%e0%a4%aa%e0%a5%8d%e0%a4%b0%e0%a5%8b%e0%a4%9f%e0%a5%80%e0%a4%a8-%e0%a4%95%e0%a5%8d%e0%a4%af%e0%a5%8b%e0%a4%82/

आज की पैनिक अटैक की जानकारी आपको कैसी लगी हमे जरूर कमेंट करके बताये।

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